देवरीखुर्द में आवारा कुत्तों का आतंक बढ़ता जा रहा है। दो दिनों के भीतर इन कुत्तों ने आठ मासूम बच्चों को काटकर बुरी तरह घायल कर दिया है। इनमें से तीन बच्चों की हालत गंभीर बताई जा रही है, जिनके सिर और चेहरे पर गहरे जख्म हैं। सभी बच्चों का अलग-अलग अस्पतालों में इलाज चल रहा है। इस घटना के बाद नगर निगम हरकत में आया और देवरीखुर्द से 35 आवारा कुत्तों को पकड़ा गया।

नगर निगम का दावा है कि वर्ष 2022 से जुलाई 2024 तक 13,864 कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण किया जा चुका है।

सफेद खदान इलाके में कुत्तों का हमला

देवरीखुर्द के वार्ड-43 के सफेद खदान इलाके में एक आवारा कुत्ता बच्चों और बड़ों पर हमला कर रहा था। बड़े लोग किसी तरह बच गए, लेकिन छोटे बच्चे कुत्ते का शिकार बन गए। इन बच्चों के सिर, चेहरे और शरीर के अन्य हिस्सों में गंभीर चोटें आई हैं। बीते दो दिनों में कुत्ते ने कुल आठ बच्चों पर हमला किया है। इस भयावह स्थिति के बाद नगर निगम ने आवारा कुत्तों को पकड़ने के लिए अभियान शुरू किया। अधिकारियों का कहना है कि मोहल्ले में 12 लोगों पर कुत्तों ने हमला किया था, जिसके बाद यह अभियान तेज किया गया।

शहर में आवारा कुत्तों की बढ़ती समस्या

देवरीखुर्द की यह घटना कोई अकेली नहीं है। शहर के अन्य हिस्सों में भी डॉग बाइट की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। सिम्स और जिला अस्पताल में लगभग हर दिन इस तरह के मामले सामने आ रहे हैं। कोरोना काल के दौरान कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण अभियान रोक दिया गया था, जिसके चलते आवारा कुत्तों की संख्या में काफी वृद्धि हुई। हालाँकि, 2022 से शुरू हुए अभियान के तहत अब तक 13,864 कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण हो चुका है।

झुंड में कुत्ते, बच्चों के लिए बड़ा खतरा

विशेषज्ञों के अनुसार, कुत्तों का मेटिंग सीजन होने के कारण वे अक्सर झुंड में रहते हैं और देर रात सड़क और गलियों से गुजरने वालों के पीछे दौड़ते हैं। बड़े लोग इनसे बचकर निकल जाते हैं, लेकिन बच्चों के लिए यह स्थिति बेहद खतरनाक साबित हो रही है। यहां तक कि कॉलोनियों में भी आवारा कुत्तों का आतंक फैला हुआ है। कुछ समय पहले एक पुलिस अधिकारी के बेटे पर भी आवारा कुत्तों ने हमला कर दिया था।

कुत्तों की संख्या में भारी वृद्धि 

वर्ष 2017 में नगर निगम द्वारा किए गए सर्वे में 7,000 आवारा कुत्तों का आंकलन किया गया था, लेकिन अब निगम का दायरा बढ़ने के कारण यह संख्या 10,000 के करीब पहुंचने का अनुमान है। 2017 में निगम ने 5,000 कुत्तों की नसबंदी के लिए टेंडर निकाला था, जिसमें दुर्ग की एनिमल वेलफेयर सोसाइटी को जिम्मेदारी दी गई थी। हालांकि, 2017 में 690 कुत्तों की ही नसबंदी हो पाई, और 2018 में यह काम ठप हो गया।

निगम की कार्रवाई और भविष्य की योजना

देवरीखुर्द में हाल ही में हुए हमले के बाद नगर निगम के अधिकारियों ने तत्काल आवारा कुत्तों को पकड़ने का अभियान शुरू किया। शनिवार को निगम की टीम ने तोरवा और देवरीखुर्द क्षेत्र से 35 आवारा कुत्तों को पकड़ा। इन कुत्तों को गोकुलनगर स्थित नगर निगम के अस्पताल में भेजा गया, जहां उनका टीकाकरण और अन्य उपचार किया जाएगा।

कोई जवाब दें

Please enter your comment!
Please enter your name here