बिलासपुर। हाईकोर्ट ने एक मामले की सुनवाई करते हुए कहा है कि जमानत की शर्तें इतनी कठोर नहीं होनी चाहिये कि उसके अधिकारों का ही हनन हो जाये। निचली अदालत के आदेश को खारिज करते हुए कोर्ट ने आरोपी को आसान शर्तों पर जमानत देने का आदेश दिया है।

धमतरी जिले के अर्जुनी ब्लॉक के राघनगुड़ा के किसान भागवत जोशी को धोखाधड़ी के एक मामले में बालोद पुलिस ने गिरफ्तार किया था। आरोपी ने जमानत के लिये गुंडरदेही थाने में अर्जी दाखिल की। आरोपी को इस शर्त पर जमानत दी गई कि वह दो लाख रुपये कैश अथवा बैंक गारंटी जमा करे। आरोपी ने इस शर्त के खिलाफ अतिरिक्त सत्र न्यायालय बालोद में अर्जी लगाई। बालोद की कोर्ट ने जमानत की राशि को घटाकर एक लाख रुपये कर दी और साथ ही 10 हजार रुपये का मुचलका भी दाखिल करने कहा।

याचिकाकर्ता ने निचली अदालत के फैसले के खिलाफ अपने अधिवक्ता के माध्यम से याचिका दायर की और कहा कि उसे जमानत तो दी गई पर जो शर्त रखी गई है उसे पूरा करने में वह सक्षम नहीं है। जमानत के लिये उस पर कड़ी शर्त लगाई गई है। हाईकोर्ट में जस्टिस संजय के अग्रवाल की सिंगल बेंच ने सुनवाई करते हुए शर्तों को निरस्त करते हुए केवल 20 हजार रुपये के बांड पर छोड़ने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा कि शर्त इतनी कठोर नहीं होनी चाहिये कि किसी व्यक्ति के जमानत पाने के अधिकार का ही हनन हो जाये और उसे छूटने का मौका न मिले।

कोई जवाब दें

Please enter your comment!
Please enter your name here