बिलासपुर। रायपुर के आपराधिक पृष्ठभूमि वाले वीरेंद्र और रोहित तोमर की पांच याचिकाओं पर बिलासपुर हाईकोर्ट में एकसाथ सुनवाई होगी। चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा की एकल पीठ ने मामले को एक सप्ताह के लिए स्थगित कर दिया। कोर्ट ने कहा कि दोनों भाइयों से जुड़े सभी मामले एक साथ सुने जाएंगे।
शासन ने शपथपत्र में दावा किया कि दोनों भाइयों का आपराधिक रिकॉर्ड है और वे सूदखोरी व संगठित अपराध में लिप्त हैं। वहीं, आरोपियों के वकील ने पुलिस पर दबाव में कार्रवाई का आरोप लगाया। दोनों भाई दो महीने से फरार हैं और उन्होंने अग्रिम जमानत के लिए हाईकोर्ट का रुख किया है।
पुलिस ने छापेमारी में उनके घर से 37 लाख रुपये से अधिक नकदी, सोने-चांदी के आभूषण, लग्जरी गाड़ियां, हथियार, और जमीन के दस्तावेज बरामद किए। जांच में संगठित अपराध से जुड़ाव सामने आने पर सात एफआईआर दर्ज की गईं। कोर्ट ने 18 अगस्त तक सरेंडर का आदेश दिया था, लेकिन दोनों ने जमानत याचिका दायर कर दी।
बरामद सामान:
- नकदी: 37,10,350 रुपये
- आभूषण: 734 ग्राम सोना, 125 ग्राम चांदी
- वाहन: बीएमडब्ल्यू, थार, ब्रेजा कार
- इलेक्ट्रॉनिक्स: सीपीयू, आईपैड, लैपटॉप
- अन्य: चेक, एटीएम कार्ड, डीवीआर, ई-स्टाम्प, जमीन के दस्तावेज, नोट गिनने की मशीन
- हथियार: 5 तलवारें, 1 रिवॉल्वर, 1 पिस्टल, जिंदा कारतूस
रोहित तोमर के खिलाफ मामले:
- 2015: अप्राकृतिक यौनाचार
- 2016: मारपीट
- 2017: मारपीट और धमकी
- 2018: ब्लैकमेलिंग
- 2019: सूदखोरी, ब्लैकमेलिंग, और हमला
वीरेंद्र तोमर के खिलाफ मामले:
- 2006: चाकू से हमला
- 2010: उगाही और मारपीट
- 2013: हत्या
- 2015: अप्राकृतिक कृत्य
- 2017: मारपीट और धमकी
- 2019: सूदखोरी और ब्लैकमेलिंग
- 2025: आर्म्स एक्ट