बिलासपुर। बिजली दरों में बढ़ोतरी और लगातार बिजली कटौती के विरोध में शुक्रवार को जिला कांग्रेस कमेटी (ग्रामीण/शहर) ने तिफरा बिजली कार्यालय का घेराव किया। सुबह से ही कांग्रेसजनों का तिफरा चौक में जुटना शुरू हो गया था। कार्यक्रम की अगुवाई ब्लॉक कांग्रेस कमेटी तिफरा ने की, जहां पंडाल लगाकर व्यवस्था की गई थी।
बिल्हा, तखतपुर, बेलतरा, मस्तूरी, मल्हार, सीपत, कोटा, सिरगिट्टी और रतनपुर सहित विभिन्न इलाकों से कांग्रेस कार्यकर्ता, महिला कांग्रेस, युवक कांग्रेस, एनएसयूआई और अन्य मोर्चा संगठनों के पदाधिकारी बड़ी संख्या में पहुंचे।
गर्मी में जुटी भीड़, पुलिस ने यातायात संभाला
सुबह 11 बजे से ही भारी पुलिस बल तैनात था। बड़ी भीड़ के कारण सड़कों पर जाम की स्थिति बन गई थी, जिसे पुलिस ने मुस्तैदी से संभाला। भीषण गर्मी के बावजूद कार्यकर्ता और आम लोग डटे रहे।
बिजली बिल बढ़ोतरी और कटौती पर तीखी आलोचना
कांग्रेस नेताओं ने मंच से राज्य सरकार पर बिजली दरों में बार-बार वृद्धि और कटौती को लेकर हमला बोला। लोगों का कहना था कि राज्य से अन्य राज्यों को बिजली बेची जाती है, फिर भी छत्तीसगढ़ की जनता महंगी बिजली झेल रही है।
करीब डेढ़ बजे नारे लगाते हुए कांग्रेसजन बिजली कार्यालय की ओर कूच किए –
“बिजली दर कम करना होगा – करना होगा”, “गरीब जनता को लूटना बंद करो – बंद करो”
लालटेन के साथ सौंपा गया प्रतीकात्मक ज्ञापन
बिजली कार्यालय पहुंचने पर देखा गया कि मुख्य गेट पहले से ही बंद था और भारी पुलिस बल तैनात था। कांग्रेस नेताओं ने गेट के बाहर प्रदर्शन करते हुए अधिकारियों को प्रतीकात्मक रूप से लालटेन भेंट की। ग्रामीण अध्यक्ष विजय केशरवानी और शहर अध्यक्ष विजय पांडेय ने यह ज्ञापन बिजली विभाग के जांगड़े और अंबष्ट को सौंपा।
नेताओं के आरोप
- विजय केशरवानी ने कहा कि छत्तीसगढ़ उत्पादक राज्य होते हुए भी यहां के उपभोक्ताओं को राहत नहीं दी जा रही।
- बिजली कटौती जानबूझकर की जा रही है ताकि उद्योगों को निर्बाध आपूर्ति हो सके।
- स्मार्ट मीटर में बिल अनियंत्रित आ रहा है, जिससे आम लोग परेशान हैं।
- विभाग बड़े उद्योगों से बकाया वसूलने के बजाय आम जनता पर बोझ डाल रहा है।
विजय पांडेय ने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार राज्य को कारपोरेट हितों के अनुसार चला रही है, और जनहित की अनदेखी कर रही है। उन्होंने कहा कि पूर्ववर्ती भूपेश सरकार ने ग्रामीणों, किसानों और आम उपभोक्ताओं को राहत दी थी।