नगर निगम आयुक्त की कार्रवाई, सिविल लाइन पुलिस अलग से जांच कर रही
बिलासपुर । नगर निगम में 12 लाख रुपये की एफडीआर चोरी के मामले में आयुक्त ने तीन लिपिकों की एक वर्ष की वेतन वृद्धि रोक दी है और तीन इंजीनियरों को नोटिस जारी किया है।
ज्ञात हो कि ठेकेदार अनिल बिल्डकॉन के पेटी ठेकेदार ने नगर निगम में शिकायत की थी कि उसके द्वारा जमा कराये गये 12 लाख रुपये के एफडीआर नगर निगम से गायब हैं। बाद में पता चला कि ये एफडीआर नगर निगम से रिलीज किये जा चुके हैं, जबकि काम पूरा नहीं हुआ है। यह राशि आहरित भी की जा चुकी है।
शिकायत पर कार्रवाई नहीं होने पर पेटी ठेकेदार ने सिविल लाइन थाने में अपने एफडीआर के चोरी होने की एफआईआर दर्ज करा दी। एफआईआर दर्ज होने के बाद नगर निगम प्रशासन, इंजीनियरों और कर्मचारियों में हड़कम्प मच गया। चूंकि अनिल बिल्डकॉन के कार्य सभी जोन में चल रहे हैं इसलिये इसमें संयुक्त हस्ताक्षर से जारी होने वाले एफडीआर में कुछ इंजीनियरों और लिपिकों की मिलीभगत होने की आशंका जताई जा रही है। नगर निगम आयुक्त प्रभाकर पांडेय ने मामले की जांच के लिये एक कमेटी बनाई जिसमें अपर आयुक्त आरबी वर्मा, अधीक्षण अभियंता जीएस ताम्रकार और लेखाधिकारी अविनाश बापते को शामिल किया गया था। कमेटी ने जांच के बाद पाया कि तीन लिपिको ने इस मामले में लापरवाही बरती है। इन तीनों लिपिकों राजेन्द्र सिंह ठाकुर, प्रभात श्रीवास्तव और गोवर्धन चौहान की एक वार्षिक वेतन वृद्धि असंचयी प्रभाव से रोक दी गई है। इसके अलावा कार्यपालन यंत्री पी.के. पंचायती, मनोरंजन सरकार व आर.के.चौबे को कारण बताओ नोटिस जारी कर एक सप्ताह के भीतर जवाब देने कहा गया है। एफडीआर की राशि का ब्याज सहित ठेकेदार के भुगतान से काटने का निर्देश दिया गया है। अधीक्षण अभियंता को ठेकेदार के विरुद्ध निहित प्रावधानों के अनुसार कार्रवाई करने का निर्देश भी दिया गया है।
ज्ञात हो कि इस मामले में सिविल लाइन पुलिस सम्बन्धित लिपिकों व इंजीनियरों से अलग से पूछताछ कर रही है।