बिलासपुर। कलेक्टर अवनीश शरण ने पोषण पुनर्वास केंद्र में पंजीकृत बच्चों की अपेक्षा कम लाभान्वित बच्चों की संख्या पर नाराजगी जताई। उन्होंने तखतपुर, रतनपुर और बिल्हा के सीडीपीओ और सेक्टर सुपरवाइजरों को लापरवाही पर नोटिस जारी करने के निर्देश दिए।

स्वास्थ्य सेवाओं की समीक्षा:
शुक्रवार को जिला स्वास्थ्य समिति की मंथन सभाकक्ष में आयोजित बैठक में कलेक्टर ने अस्पताल भवन, दवाइयों और अन्य स्वास्थ्य सुविधाओं की समीक्षा की। मलेरिया और डायरिया से निपटने के लिए अप्रैल से ही कार्ययोजना तैयार करने के निर्देश भी दिए।

मोदी के 30 मार्च प्रवास की तैयारियों पर निर्देश

कलेक्टर ने बताया कि प्रधानमंत्री के 30 मार्च के दौरे को लेकर व्यापक तैयारियां की जा रही हैं।
🔹 कार्यक्रम स्थल पर 120 सेक्टर बनाए जाएंगे, जहां मितानिन तैनात रहेंगी।
🔹 10 पार्किंग स्थलों पर मेडिकल सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी।
🔹 कम से कम दो लाइफ-सेविंग एंबुलेंस कार्यक्रम स्थल पर तैनात की जाएंगी।
🔹 सभी अधिकारियों और कर्मचारियों की ड्यूटी निर्धारित कर उन्हें समय पर पहुंचने के निर्देश दिए गए।

गर्मी और स्वास्थ्य सुरक्षा के उपाय:
👉 लू से बचाव के लिए जनजागरूकता अभियान चलाने और जगह-जगह ओआरएस कॉर्नर स्थापित करने के निर्देश दिए।
👉 टीबी मुक्त ग्राम पंचायतों की समीक्षा की गई, जिसमें बताया गया कि अब तक जिले की 69 पंचायतें टीबी मुक्त हो चुकी हैं।
👉 कोटा के दूरस्थ वनांचलों में संचालित “बाइक संगवारी एंबुलेंस” की भी समीक्षा की गई, जिससे अब तक 6,500 लोग लाभान्वित हो चुके हैं।

स्वास्थ्य अधोसंरचना पर नाराजगी:
कलेक्टर ने स्वास्थ्य केंद्रों, अस्पताल भवनों और अन्य अधोसंरचनाओं के निर्माण की धीमी गति पर असंतोष व्यक्त किया। विशेष रूप से सीजीएमएससी (छत्तीसगढ़ मेडिकल सर्विसेज कॉर्पोरेशन) का कार्य बहुत धीमा चल रहा है। उन्होंने गर्भवती महिलाओं के शत-प्रतिशत पंजीयन और हीमोग्लोबिन जांच सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए।

बैठक में सीएमएचओ डॉ. प्रमोद तिवारी, सिविल सर्जन डॉ. अनिल गुप्ता, डीपीएम प्यूली मजूमदार सहित स्वास्थ्य विभाग और निर्माण एजेंसियों के अधिकारी उपस्थित रहे।

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