कोरबा। कोरबा जिले के कटघोरा वनमंडल में हाथी-मानव संघर्ष लगातार बढ़ रहा है। करतला वन परिक्षेत्र में इन दिनों लगभग 53 हाथी नौनदरहा और रामपुर के पास विचरण कर रहे हैं। ग्राम रामपुर के पास सड़क पार कर रहे लगभग 17 हाथियों पर ग्रामीणों ने पथराव किया, जिससे हाथी आक्रामक हो गए और ग्रामीणों को दौड़ाया। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
हाथियों के हमले के कारण एक ही दिन में 23 एकड़ फसल को नुकसान हुआ है। धान की फसल वालियाँ पकने की स्थिति में है, इसलिए ग्रामीण दल की निगरानी और रतजगा करने पर मजबूर हैं।
वन विभाग की ओर से ग्रामीणों को हाथियों से दूर रहने की सलाह दी जा रही है। चार दिन पहले कोरबा वनमंडल में 16 हाथी थे। बारिश और नदी-नालों में जल प्रवाह अधिक होने के कारण हाथियों का आवागमन कम था। अब वर्षा थमने और पानी का स्तर घटने के बाद हाथी रायगढ़ के धरमजयगढ़ की ओर से आने लगे हैं, जिससे फसल नुकसान बढ़ा है।
समर्थन मूल्य के मुकाबले काफी कम राहत
ग्रामीणों का कहना है कि हाथियों की संख्या बढ़ने और वन विभाग की निगरानी कम होने की वजह से फसल नुकसान का दायरा लगातार बढ़ रहा है।
मौजूदा नियम के अनुसार प्रति एकड़ 22 हजार रुपये मुआवजा दिया जाता है, जो धान की समर्थन मूल्य के मुकाबले बहुत कम है।
हाथियों ने किया जानलेवा हमला
इधर रामपुर सर्किल के सिवाना मोहा में हाथियों के दल ने मानसिक रूप से कमजोर एक व्यक्ति को कुचल दिया, जिसकी मौत हो गई। वहीं, हरिपुर-चंदरपुर मार्ग पर मोटरसाइकिल से जा रहे तीन युवकों पर हाथी ने हमला किया। इस हमले में रामसाय अगरिया (39 वर्ष) की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि उसका भतीजा प्रदीप और दोस्त लवकेश बरगाह भागकर अपनी जान बचाने में सफल हुए।
हाथियों की बड़ी संख्या से स्थिति संवेदनशील
कोरबा वनमंडल में विचरण कर रहे 53 हाथियों के दल में 6 नन्हे हाथी शामिल हैं, जिससे बच्चों की सुरक्षा के मामले में स्थिति और भी संवेदनशील हो गई है।
कटघोरा वनमंडल के केंदई, जटगा और एतमानगर वन परिक्षेत्र में भी लगभग 45 हाथी विचरण कर रहे हैं। ग्रामीणों को हाथियों से दूरी बनाकर रहने की सलाह दी जा रही है।
वन विभाग की लगातार निगरानी
वन विभाग की टीम ग्रामीणों को जंगल या उससे लगे रास्तों पर रात में न जाने की चेतावनी दे रही है। दोनों वनमंडलों में हाथियों के विचरण और बढ़ते फसल नुकसान को देखते हुए विभाग लगातार निगरानी कर रहा है।