‘स्मार्ट विजिलेंस, सेफर माइन्स’ लेख में एसईसीएल के कदमों की प्रशंसा
बिलासपुर। साउथ ईस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (SECL) ने पारदर्शिता, जवाबदेही और सतर्क प्रशासन की दिशा में जो तकनीकी पहलें की हैं, उन्हें केंद्रीय सतर्कता आयोग (CVC) ने अपनी वार्षिक रिपोर्ट “Preventive Vigilance Measures – 2025” में शामिल करते हुए सराहा है। सीवीसी ने एसईसीएल की इन पहलियों को “Smart Vigilance, Safer Mines” शीर्षक वाले लेख में प्रकाशित किया है।
इस लेख में बताया गया है कि एसईसीएल ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) और डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन की मदद से सतर्कता, सुरक्षा और संचालन दक्षता को मजबूत करने में बड़ी प्रगति की है।
आईसीसीसी बना डिजिटल विजिलेंस का अहम केंद्र
एसईसीएल के इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर (ICCC) को इस दिशा में सबसे प्रभावी कदम बताया गया है। इसके तहत सीसीटीवी निगरानी, वाहन लोड मॉनिटरिंग, फायर और स्मोक डिटेक्शन तथा सुरक्षा उपकरण अनुपालन (PPE Compliance) को एकीकृत किया गया है। एआई-आधारित विश्लेषण से किसी भी गड़बड़ी का तुरंत पता चल जाता है, जिससे त्वरित और निवारक कार्रवाई संभव हो पाती है।
डिजीकोल और ईंधन नियंत्रण में डिजिटल बदलाव
CVC की रिपोर्ट में DigiCOAL का भी विशेष उल्लेख किया गया है, जो ड्रोन, IoT डिवाइस और AI एनालिटिक्स के जरिए खान नियोजन, निगरानी और भूमि प्रबंधन में पारदर्शिता लाता है। इससे ईंधन की ट्रैकिंग, उपकरणों की कार्यक्षमता और खनन की वैज्ञानिकता में सुधार हुआ है।
इसी तरह, RFID-आधारित DDU ऑटोमेशन सिस्टम के जरिए ईंधन वितरण को पूरी तरह स्वचालित कर दिया गया है। अब केवल अधिकृत वाहन ही डीजल प्राप्त कर सकते हैं और हर लेन-देन का डिजिटल ऑडिट ट्रेल तैयार होता है, जिससे ईंधन चोरी और दुरुपयोग पर लगाम लगी है।
‘जटायु डैशबोर्ड’ से नियमों की जानकारी एक क्लिक पर
SECL की विजिलेंस और सिस्टम विभाग ने AI-आधारित “जटायु डैशबोर्ड” तैयार किया है, जो सभी नियमों, दिशानिर्देशों और सर्कुलरों की जानकारी एक जगह देता है। इसमें मौजूद चैटबॉट तुरंत सत्यापित और नियम आधारित जानकारी प्रदान करता है, जिससे पारदर्शी और सही निर्णय लेने में मदद मिलती है।
सीवीसी ने कहा है कि एसईसीएल की ये पहलें तकनीक के माध्यम से नैतिकता, पारदर्शिता और दक्षता की संस्कृति को बढ़ावा देती हैं। कोयला मंत्रालय के मार्गदर्शन में एसईसीएल डिजिटल नवाचारों के जरिए सुरक्षित और जवाबदेह खनन संचालन की दिशा में निरंतर आगे बढ़ रहा है।













