250 ट्रैप कैमरे लगाए गए, ग्रामीणों का निगरानी दल भी गठित
रायपुर। बलौदाबाजार-भाटापारा जिले के बारनवापारा अभ्यारण्य में बाघों के संरक्षण और सुरक्षा के उद्देश्य से वनमंडल स्तरीय एक दिवसीय चरवाहा सम्मेलन आयोजित किया गया। इस सम्मेलन में बाघों के व्यवहार और उनकी गतिविधियों को समझाने के लिए वनमंडल अधिकारियों द्वारा पावर पॉइंट प्रजेंटेशन के माध्यम से जानकारी साझा की गई।
बाघों की सुरक्षा और निगरानी पर विशेष ध्यान
उपवनमंडलाधिकारी कसडोल, आई.एफ.एस अक्षय दिनकर भोसले ने सम्मेलन में बाघों की गतिविधियों और ट्रैकिंग के संबंध में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि बाघों की निगरानी के लिए वनमंडल के अंतर्गत 250 ट्रैप कैमरों का उपयोग किया जा रहा है। बाघ की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए स्थानीय ग्रामीणों की मदद से विशेष निगरानी दल का गठन किया गया है।
ग्रामीणों से अपील और जागरूकता
वनमंडलाधिकारी बलौदाबाजार मयंक अग्रवाल ने ग्रामीणों से अपील की कि किसी भी प्रकार की जनहानि, पशुहानि या फसल क्षति की स्थिति में तत्काल वन विभाग को सूचित करें। इसके अलावा, अवैध शिकार या वन्यप्राणियों से संबंधित जानकारी मिलने पर तुरंत विभाग को जानकारी देने पर गोपनीय पुरस्कार की भी घोषणा की गई।
सम्मेलन में वन्यप्राणियों द्वारा की गई जनहानि पर मुआवजे की जानकारी भी दी गई, जिसमें जनहानि पर 6 लाख रुपये, पूर्ण अपंगता पर 2 लाख रुपये, और सामान्य घायल पर 5 लाख 91 हजार रुपये की राशि दी जाएगी।
वन्यप्राणियों की सुरक्षा पर जोर
सम्मेलन में वन्यप्राणियों की सुरक्षा के लिए ग्रामीणों को सतर्क रहने की अपील की गई और अवैध शिकार, बिजली हुकिंग, या अन्य अवैध गतिविधियों की जानकारी होने पर तुरंत वन विभाग को सूचित करने का आग्रह किया गया। इसके साथ ही, किसी भी समस्या के समाधान के लिए निकटम वनाधिकारी से संपर्क करने के निर्देश भी दिए गए।