पुलिस अधीक्षक से शिकायत कर एफआईआर दर्ज करने की मांग
बिलासपुर। बस्तर के करपावंड तहसील में पदस्थ नायब तहसीलदार पुष्पराज मिश्रा ने सरकंडा थाना प्रभारी तोपसिंग नवरंग और अन्य पुलिस कर्मियों पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने पुलिस अधीक्षक बिलासपुर को लिखित शिकायत देते हुए गाली-गलौज, मारपीट, जान से मारने की धमकी और झूठे केस में फंसाने का आरोप लगाया है।
पुलिस वाले खुद नशे में थे
शिकायत के अनुसार, 16 नवंबर को पुष्पराज मिश्रा हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस से रायपुर से बिलासपुर लौट रहे थे। 17 नवंबर की रात करीब 1:35 बजे स्टेशन से उनके पिता और भाई उन्हें घर ले जा रहे थे। रास्ते में डीएलएस कॉलेज के पास दो पुलिसकर्मियों ने उन्हें रुकने का इशारा किया। रुकने पर उन पुलिसकर्मियों ने कथित तौर पर गाली-गलौज शुरू कर दी और नशे की हालत में दुर्व्यवहार किया।
मिश्रा ने बताया कि जब उन्होंने अपना परिचय नायब तहसीलदार के रूप में दिया, तो पुलिसकर्मियों ने 112 पेट्रोलिंग गाड़ी बुला ली। इसके बाद उन्हें गाड़ी में बैठाकर सरकंडा थाने ले जाया गया। वहां उनसे पहचान पत्र मांगा गया। फिजिकल आईडी न होने पर मोबाइल में मौजूद फोटो दिखाया गया।
मिश्रा ने आरोप लगाया कि थाने में मौजूद पुलिसकर्मियों ने उनसे दुर्व्यवहार किया और फर्जी मेडिकल रिपोर्ट बनाने की कोशिश की। उन्होंने यह भी बताया कि शराब की जांच के लिए लाए गए एल्कोहल मीटर में उनसे फूंकने को कहा गया, लेकिन उसमें कोई परिणाम नहीं आया। इसके बावजूद पुलिसकर्मियों ने दुर्व्यवहार जारी रखा।
घटना के दौरान उनके पिता और भाई भी थाने पहुंचे। मिश्रा का आरोप है कि थाना प्रभारी तोपसिंग नवरंग ने उनके भाई के साथ भी गाली-गलौज की और वीडियो बनाने पर मोबाइल छीन लिया। पुलिसकर्मियों ने कथित तौर पर उनके भाई के फोन से सभी दस्तावेज और वीडियो डिलीट कर दिए।
मिश्रा के भाई ने देर रात घटना की जानकारी बिलासपुर कलेक्टर को दी। कलेक्टर ने थाना प्रभारी से बात की, लेकिन थाना प्रभारी ने कहा कि वह केवल पुलिस अधीक्षक के निर्देशों का पालन करेंगे।
परिवार सहमा हुआ, कार्रवाई की मांग
मिश्रा ने शिकायत में लिखा है कि वह और उनका परिवार मानसिक रूप से आहत और डरा हुआ है। उन्होंने पुलिस अधीक्षक से घटना की जांच कर संबंधित पुलिसकर्मियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने और कड़ी कार्रवाई की मांग की है।